Details
Tbl_QuraanAyaat
- SuraArabic
- AyatNo
- 7
- PageNo
- 50
- SegmentNo
- 4
- AyatImagePath
- AyatAudioPath
- 3_7.png
- AyatText
- هُوَ ٱلَّذِىٓ أَنزَلَ عَلَيْكَ ٱلْكِتَـٰبَ مِنْهُ ءَايَـٰتٌۭ مُّحْكَمَـٰتٌ هُنَّ أُمُّ ٱلْكِتَـٰبِ وَأُخَرُ مُتَشَـٰبِهَـٰتٌۭ ۖ فَأَمَّا ٱلَّذِينَ فِى قُلُوبِهِمْ زَيْغٌۭ فَيَتَّبِعُونَ مَا تَشَـٰبَهَ مِنْهُ ٱبْتِغَآءَ ٱلْفِتْنَةِ وَٱبْتِغَآءَ تَأْوِيلِهِۦ ۗ وَمَا يَعْلَمُ تَأْوِيلَهُۥٓ إِلَّا ٱللَّهُ ۗ وَٱلرَّٰسِخُونَ فِى ٱلْعِلْمِ يَقُولُونَ ءَامَنَّا بِهِۦ كُلٌّۭ مِّنْ عِندِ رَبِّنَا ۗ وَمَا يَذَّكَّرُ إِلَّآ أُو۟لُوا۟ ٱلْأَلْبَـٰبِ
- AyatMeaning
- वही (हर चीज़ पर) ग़ालिब और दाना है (ए रसूल) वही (वह ख़ुदा) है जिसने तुमपर किताब नाज़िल की उसमें की बाज़ आयतें तो मोहकम (बहुत सरीह) हैं वही (अमल करने के लिए) असल (व बुनियाद) किताब है और कुछ (आयतें) मुतशाबेह (मिलती जुलती) (गोल गोल जिसके मायने में से पहलू निकल सकते हैं) पस जिन लोगों के दिलों में कज़ी है वह उन्हीं आयतों के पीछे पड़े रहते हैं जो मुतशाबेह हैं ताकि फ़साद बरपा करें और इस ख्याल से कि उन्हें मतलब पर ढाले लें हालाँकि ख़ुदा और उन लोगों के सिवा जो इल्म से बड़े पाए पर फ़ायज़ हैं उनका असली मतलब कोई नहीं जानता वह लोग (ये भी) कहते हैं कि हम उस पर ईमान लाए (यह) सब (मोहकम हो या मुतशाबेह) हमारे परवरदिगार की तरफ़ से है और अक्ल वाले ही समझते हैं
- Vocabulary
- AyatSummary
- Conclusions
- AyatPurpose
- AyatSimilar
- HadeethContext
- LangCode
- hi